नमस्कार , 9 नवंबर को राम मंदिर विवाद या अयोध्या विवाद पर देश की सर्वोच्च न्यायालय का फैसला आने के अलावा एक बहोत बडी शुरुआत हुई है जिसके बारे मे मैने पिछली वाली पोस्ट में मैने कहा थाकी मै अपनी अगली पोस्ट में उसके बारे में बात करुंगा |
दरहसल वो बडी और नयी शुरुआत है 'करतारपुर गलियारा' जिसका उदघाटन भारत में भारत के प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी ने किया एवं पाकिस्तान में पाकिस्तान के बजिरे आजम जनाब इमरान खान नियाजी ने किया | गुरुनाक देवजी कि 550वी जयंती के मोके पर खुल रहे इस एतिहासिक गलियारे का उपयोग सालभर भारतीय सिख श्रद्धालुओ के द्वारा किया जा सकेगा | करतारपुर गलियारे से 9 नवंबर का 550 श्रद्धालुओ का पहला जत्था दर्शन के लिए गया इसी के साथ एक नयी शुरुआत का आगाज हुआ | बाबा गुरुनानक देवजी की 550वी जयंती पर मैने बाबाजी के चरणो मे मेरी एक छोटी सी कविता रचना रखने कि कोशिश की है
गुरु नानक देवजी की वाणी में
गुरु नानक देवजी की वाणी में
जीवन जीने की शिक्षा
कठिन परिश्रम की इच्छा
सत्य की विजय की दीक्षा
विपरित समय में धैर्य की परीक्षा
गुरु नानक देवजी की वाणी में
आपस में बढता रहे सदा प्यार
एकजुट रहे सदा परिवार
मिलता रहे स्नेह का उपहार
सदा रहो अपनी सुरक्षा के लिए तैयार
गुरु नानक देवजी की वाणी में
प्रतिकुल परिस्थीतियों में धैर्यवान बनो
दुर्बलों की सुरक्षा के लिए बलवान बनो
हर कार्य में गुणवान बनो
अपने कुटुंब का सम्मान बनो
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इस कविता को लिखते वक्त अगर शब्दो में या टाइपिंग में मुझसे कोई गलती हो गई हो तो उसके लिए मै बेहद माफी चाहूंगा | मै जल्दी ही एक नई रचना आपके सम्मुख प्रस्तुत करूंगा | तब तक अपना ख्याल रखें अपनों का ख्याल रखें , नमस्कार |
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