नमस्कार , हाइकु 3 लाइन की जापानी कविताओं का वह रूप जिसमें किसी भी भाव को कहने के लिए शब्दों की बहुत कम जरूरत होती है | हायकू कविता छोटी एवं बहुत अधिक असरकारक हो होती है |
यहां मैं आपसे मेरा लिखा एक और हाइकु साझा करने वाला हूं , जिसे मैंने करीबन एक से डेढ़ सप्ताह पहले लिखा है |
मेरे छत पर एक अनजान ओढ़नी
कलर हरा है
दीदी के पास इस कलर की
ओढ़नी नही है
दीदी के पास इस कलर की
ओढ़नी नही है
तो
मतलब
यह कहां से आई
किसकी है ?
यह कहां से आई
किसकी है ?
क्या ?
बगल के मकान से
पर उसमें तो ...|
बगल के मकान से
पर उसमें तो ...|
मतलब
कोई और है
तो क्या वो हमउम्र होगी
कोई और है
तो क्या वो हमउम्र होगी
या फिर
कहीं
कोई बासी दाल तो नहीं है
कहीं
कोई बासी दाल तो नहीं है
मेरा हाइकु के रूप में एक और छोटा सा यह प्रयास आपको कैसी लगी मुझे अपने कमेंट के जरिए जरुर बताइएगा | अगर अपनी रचना को प्रदर्शित करने में मुझसे शब्दों में कोई त्रुटि हो गई हो तो तहे दिल से माफी चाहूंगा | एक नई रचना के साथ मैं जल्द ही आपसे रूबरू होऊंगा | तब तक के लिए अपना ख्याल रखें अपने चाहने वालों का ख्याल रखें | मेरी इस रचना को पढ़ने के लिए आपका बहुत-बहुत शुक्रिया | नमस्कार
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