शनिवार, 11 अगस्त 2018

नटखट नंदलाला है , काव्य

नमस्कार , मैने ये दो छोटी छोटी कविताएं जिन्हें मुक्तक काव्य भी कहा जाता है 28 मई 2017 को लिखी थी आज मै इन्हें आप के सम्मुख प्रस्तुत कर रहा हूं | आशा है मेरे प्रयास को आपसे सराहना मिलेगी |

नटखट नंदलाला है , काव्य

(1) - नटखट नंदलाला है -
माखन का चोर वो
गोकुल का ग्वाला है
बंसी का वादक वो
जिसका भोला रूप निराला है
राधा जिसकी दीवानी
वह नटखट नंदलाला है
माखन का चोर वो
गोकुल का ग्वाला है

(2) - नन्हा कान्हा है -
मैंने माखन नहीं खाया मां
एक झूठ जिसे सब ने माना है
यह जो नटखट बालक है
थोड़ा सा जाना पहचाना है
राधिका का दीवाना
मां यशोदा का नन्हा कान्हा है
मां यशोदा का नन्हा कान्हा है

     मेरी मुक्तक काव्य के रूप में एक और छोटी सी यह कोशिस आपको कैसी लगी है मुझे अपने कमेंट के जरिए जरुर बताइएगा | अगर अपनी रचना को प्रदर्शित करने में मुझसे शब्दों में कोई त्रुटि हो गई हो तो तहे दिल से माफी चाहूंगा |  एक नई रचना के साथ मैं जल्द ही आपसे रूबरू होऊंगा | तब तक के लिए अपना ख्याल रखें  अपने चाहने वालों का ख्याल रखें | मेरी इस रचना को पढ़ने के लिए आपका बहुत-बहुत शुक्रिया | नमस्कार |

ग़ज़ल, प्यार जताने के लिए तरीको की जरूरत नहीं होगी

नमस्कार , प्यार जताने के लिए तरीकों की जरूरत नहीं होगी मैने ये गजल 22 फरवरी 2017 को लिखी थी और अब वक्त मयस्सर होने पर ये आपके ख़िदमत में हाजिर है | इससे पहले कि कुछ और लिखुं यहां मैं आपको बताता चलुं की मै इस महीने पिछले दो तीन सालों में लिखी रचनाओं को प्रकाशित कर रहा हूं जिन्हें अभी तक नहीं कर पाया था | गजल देखे के

ग़ज़ल, प्यार जताने के लिए तरीको की जरूरत नहीं होगी

सच कहने के लिए लफ्जों की जरूरत नहीं होगी
जिंदगी जीने के लिए लहजों की जरूरत नहीं होगी

कभी किसी का शरमाना , नजरें चुराना तो किसी का खामोश रहना इकरार होता है
प्यार जताने के लिए तरीकों की जरूरत नहीं होगी

हर अक्षर खुद-ब-खुद मन के हालात बया करता है
खत लिखने के लिए शब्दों की जरूरत नहीं होगी

तेरे मेरे साथ का एक पल हमारे प्यार को मुकम्मल बना देगा
मोहब्बत की यह दास्तां लिखने के लिए जन्मों की जरूरत नहीं होगी

एक कोठरी काफी है तेरे संग उम्र बिताने को
हमें आबाद रहने के लिए महलों की जरूरत नहीं होगी

वक्त को यह गुमान है की एक दिन हमारी मोहब्बत को मिटा देगा वो
उसे नहीं मालूम कि हमें जिंदा रहने के लिए सांसो की जरूरत नहीं होगी

मुझे तुमसे कितना प्यार है मुझे नहीं मालूम
बस इतना जानता हूं तू साथ होगी तो मुझे खुदा से कुछ और आरजू नहीं होगी 

     मेरी गजल के रूप में एक और छोटी सी यह कोशिस आपको कैसी लगी है मुझे अपने कमेंट के जरिए जरुर बताइएगा | अगर अपनी रचना को प्रदर्शित करने में मुझसे शब्दों में कोई त्रुटि हो गई हो तो तहे दिल से माफी चाहूंगा |  एक नई रचना के साथ मैं जल्द ही आपसे रूबरू होऊंगा | तब तक के लिए अपना ख्याल रखें  अपने चाहने वालों का ख्याल रखें | मेरी इस रचना को पढ़ने के लिए आपका बहुत-बहुत शुक्रिया | नमस्कार |

कविता, प्यार

नमस्कार , मैने ये कविता 22 फरवरी 2017 को लिखी थी |बड़े जाने पहचाने से अहसास पर आधारित याह एक छोटी सी रचना अब आपके हवाले कर रहा हूं |

कविता, प्यार


प्यार

यह एक शब्द
मतलब दो दिलों का एक एहसास
एक से खुशियां
एक से गम
एक से जिंदगी
एक रास्ते
एक मंजिल
एक से कदम
दो जिस्म
दो सासे
दो दिल
एक धड़कन
एक जान
यह एक शब्द
 
     मेरी कविता के रूप में एक और छोटी सी यह कोशिस आपको कैसी लगी है मुझे अपने कमेंट के जरिए जरुर बताइएगा | अगर अपनी रचना को प्रदर्शित करने में मुझसे शब्दों में कोई त्रुटि हो गई हो तो तहे दिल से माफी चाहूंगा |  एक नई रचना के साथ मैं जल्द ही आपसे रूबरू होऊंगा | तब तक के लिए अपना ख्याल रखें  अपने चाहने वालों का ख्याल रखें | मेरी इस रचना को पढ़ने के लिए आपका बहुत-बहुत शुक्रिया | नमस्कार |

शुक्रवार, 10 अगस्त 2018

तीन रुबाईया

नमस्कार , ये तीन मुक्तक यानी की रुबाईया मैने 24 जनवरी 2017 को लिखा था |आज आपके समक्ष प्रस्तुत कर रहा हूं

तीन रुबाईया


(1)

नफरतों से इश्क जब ज्यादा हो जाए
जनम जनम के साथ का जो वादा हो जाए
प्रेम की अमर दास्तां बने
मैं श्यामा हो जाऊंगा जो तू राधा हो जाए मुक्तक

(2)

तुम्हारे बिना अब मेरा कहीं गुजारा नहीं है
इस सागर का  अब और कोई किनारा नहीं है
पर्ची देखकर जब उन्होंने मेरी तरफ घूर कर देखा
तो हमने कहा यह कहीं और से आया है हमारा नहीं है

(3)

तू जो रुठ कर गई तो टूट कर बिखर जाएंगे हम
तेरे प्यार में हद से गुजर जायेंगे हम
वैसे  मुझे गहरे पानी से बहुत डर लगता है
लेकिन तेरे लिए उतने पानी में भी डूब कर मर जाएंगे हम   

     मेरी रुबाईयों के रूप में एक और छोटी सी यह कोशिस आपको कैसी लगी है मुझे अपने कमेंट के जरिए जरुर बताइएगा | अगर अपनी रचना को प्रदर्शित करने में मुझसे शब्दों में कोई त्रुटि हो गई हो तो तहे दिल से माफी चाहूंगा |  एक नई रचना के साथ मैं जल्द ही आपसे रूबरू होऊंगा | तब तक के लिए अपना ख्याल रखें  अपने चाहने वालों का ख्याल रखें | मेरी इस रचना को पढ़ने के लिए आपका बहुत-बहुत शुक्रिया | नमस्कार |

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